मैनिट के विशेषज्ञों की टीम शहर के पहाड़ी इलाकों के हिसाब से इलेक्ट्रिक बसों में यात्रियों की पूरी संख्या भरने के बाद लोडेड व्हीकल को पहाड़ी की ऊंचाई पर चलने योग्य रूट का चयन करेगी। अरेरा हिल्स, राज भवन, न्यू मार्केट जैसे घाट क्षेत्र में इलेक्ट्रिक बसों ने बेहतर प्रदर्शन किया था। भोपाल सिटी लिंक लिमिटेड अब इस बात को सुनिश्चित करना चाह रहा है की दोगुनी संख्या में यात्रियों को लेकर चलने के दौरान इन बसों के संचालन में किसी प्रकार की कोई असुविधा नहीं हो।
ई- बसों के संचालन के लिए सभी तैयारियां की जा रही हैं। विषय विशेषज्ञों से भी सलाह ली जा रही है।- मनोज राठौर, डायरेक्टर, बीसीएलएल ये भी पढ़ें:
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इसलिए परीक्षण जरूरी
भोपाल शहर 24 लाख की आबादी वाला शहर है। इसके मुकाबले भोपाल सिटी लिंक लिमिटेड एकमात्र ऐसी संस्था है जो सस्ता पब्लिक ट्रांसपोर्ट सिस्टम उपलब्ध कराती है। शहर में बीसीएलएल के अलग-अलग ठेकेदार 200 लो लोर बसों को संचालित करते हैं जिनमें क्षमता से तीन गुना तक ज्यादा यात्री सफर करते हैं। इलेक्ट्रिक बसों के सीमित संख्या में चलने के बाद भी यही हश्र हो सकता है।