यहां आयोजित समारोह में मंडी परिसर में ऑक्शन प्लेटफॉर्म, मंडी समिति कार्यालय भवन, गेट संया-2 पर पुलिया, चारदीवारी एवं फेसिंग, ओपन ऑक्शन प्लेटफॉर्म सहित पार्किंग क्षेत्र तथा संपर्क सड़कों पर स्ट्रीट लाइट और विद्युत कार्य का लोकार्पण एवं शिलान्यास लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने किया।
बिरला ने कहा कि अमरूद, नींबू, मौसमी, नारंगी जैसी फसलों की खेती के लिए किसानों को मुफ्त पौधे उपलब्ध कराएं जाएंगे। साथ ही उन्होंने पशुपालन को किसानों की आय बढ़ाने का एक प्रभावी माध्यम बताया और किसानों से आग्रह किया कि वे खेती के साथ-साथ फलोद्यान और पशुपालन को भी अपनाएं। आने वाले समय में मंडियों को फसल-आधारित विशिष्ट मंडियों में बदला जाएगा। जैसे मटर, भिंडी, मिर्च जैसी फसलों की विशेष मंडियां स्थापित की जाएंगी। जिससे स्थानीय उपज को नया बाजार मिलेगा।
यूडीएच मंत्री झाबर सिंह खर्रा ने कहा कि पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के नेतृत्व में किसान कल्याण के अथक प्रयास शुरू हुए। उन्होंने नदियों के व्यर्थ बह जाने वाले अमूल्य जल के संरक्षण व प्रत्येक किसान के खेत तक पानी पहुंचाने के लिए देशभर की नदियों को आपस में जोड़ने की मुहिम शुरू की थी। आज पीएम मोदी के नेतृत्व में कृषि क्षेत्र को आधुनिक, सशक्त और आत्मनिर्भर बनाने की दिशा में लगातार कार्य हो रहा है।
बिरला ने कहा कि बूंदी के किसान परंपरागत खेती से आगे बढ़कर आधुनिक तकनीकों को अपना रहे हैं। हाइड्रोपोनिक तकनीक के माध्यम से अभी 500 बीघा क्षेत्र में खेती की जा रही है, जो जल्द ही हजारों बीघा तक विस्तारित होगी। किसान अब फलों, सब्जियों और फूलों की उन्नत खेती की ओर अग्रसर हैं। दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेसवे जैसे संपर्क मार्गों से दिल्ली, जयपुर और मुंबई की मंडियों तक उपज को 4 से 7 घंटे में पहुंचाया जा सकेगा, जिससे किसानों को बेहतर मूल्य मिलेगा।