वीडियो बनाकर करता था ब्लैकमेल
जांच में पता चला कि आरोपी छात्राओं को प्रतियोगी परीक्षाओं में पास कराने और सरकारी नौकरी दिलाने का झांसा देता था। इसी बहाने वह छात्राओं को शारीरिक संबंध बनाने के लिए मजबूर करता। इस दौरान वह वीडियो बनाकर छात्राओं को ब्लैकमेल भी करता था। राष्ट्रीय महिला आयोग के निर्देश पर कार्रवाई
राष्ट्रीय महिला आयोग ने मामले की गंभीरता को समझते हुए हाथरस पुलिस से रिपोर्ट तलब की। इसके बाद पुलिस हरकत में आई और डीएसपी तथा एएसपी रैंक के अधिकारियों की टीम ने जांच शुरू की। जांच के दौरान प्रोफेसर रजनीश के खिलाफ आरोप सही पाए गए। पुलिस ने आरोपी के खिलाफ IPC की संबंधित धाराओं में केस दर्ज किया। लेकिन मुकदमा दर्ज होने की खबर मिलते ही आरोपी फरार हो गया।
कॉलेज प्रशासन ने नहीं किया सहयोग
पुलिस सूत्रों के अनुसार, जब जांच के लिए कॉलेज प्रशासन से संपर्क किया गया, तो उन्होंने सहयोग करने से इनकार कर दिया। इसके बाद एसपी चिरंजीव नाथ सिन्हा ने अपर पुलिस अधीक्षक अशोक कुमार सिंह को मामले की जांच सौंपी। उनकी रिपोर्ट के आधार पर एफआईआर दर्ज की गई। आरोपी की तलाश जारी, दबिशें तेज
हाथरस के पुलिस अधीक्षक चिरंजीव नाथ सिन्हा ने बताया कि आरोपी की गिरफ्तारी के लिए कई जगहों पर दबिश दी जा रही है। पुलिस का कहना है कि वह जल्द ही आरोपी को गिरफ्तार कर मामले का खुलासा करेगी।
यह मामला शिक्षा जगत के लिए एक काला धब्बा है। छात्राओं की हिम्मत और महिला आयोग के हस्तक्षेप के चलते पुलिस को कार्रवाई करनी पड़ी। अब सवाल यह उठता है कि आखिर कॉलेज प्रशासन ने पहले इस पर कार्रवाई क्यों नहीं की? क्या पहले दी गई शिकायतों को नजरअंदाज किया गया था? पुलिस की अगली कार्रवाई पर पूरे प्रदेश की नजरें टिकी हैं।