संस्कृत शिक्षा मंत्री मदन दिलावर के नेतृत्व में विभाग लंबे समय से वैदिक शिक्षा के उत्थान के लिए प्रयासरत है। अब सरकार की ओर से जारी आदेश में प्रोफेसर गणेशी लाल सुथार को बोर्ड का अध्यक्ष नियुक्त किया गया है। इसके साथ ही बोर्ड में प्रोफेसर राजेंद्र प्रसाद मिश्रा, डॉ. कैलाश चतुर्वेदी, प्रोफेसर नरपत सिंह राठौड़, नरेश चंद शर्मा, भवानी शंकर शर्मा और प्रोफेसर हरेश्वर छिपा को सदस्य के रूप में शामिल किया गया है।
बोर्ड राज्य सरकार द्वारा संभाग स्तर पर स्थापित किए जा रहे
आदर्श वेद विद्यालयों तथा
तीन वैदिक गुरुकुलों के संचालन, पाठ्यक्रम निर्माण और परीक्षा प्रणाली की जिम्मेदारी संभालेगा। इसके साथ ही प्रदेश में संचालित समस्त वेद विद्यालयों और वेद पाठशालाओं को एक संगठित रूप में कार्य करने का अवसर मिलेगा।
यह कदम वैदिक परंपराओं, मूल्यों और ज्ञान को आने वाली पीढ़ियों तक पहुंचाने की दिशा में महत्वपूर्ण साबित होगा। शिक्षा के इस नवाचार से राजस्थान एक बार फिर वैदिक संस्कृति के संरक्षण में अग्रणी भूमिका निभाने को तैयार है।