पिछले कुछ दिनों से मौसम में बदलाव आ रहा है। तेज हवा, अंधड़ के साथ बारिश हो रही है। पहले से ही केंद्रों को सूखत की चिंता सता रही है और अब बारिश से भी नुकसान का डर सता रहा है। जिले में इस वर्ष 110 लाख क्विंटल धान की खरीदी हुई थी।
CG Weather News: ऑरेंज अलर्ट जारी
सहकारी समिति संघ के जिलाध्यक्ष जय प्रकाश साहू ने बताया कि केंद्रों में कम मात्रा में धान है। जिसका उठाव होना बाकी है। कोमाखान केंद्र में धान का स्टॉक ज्यादा है। इससे समितियों को सूखत की चिंता सता रही है। उन्होंने बताया कि दूर-दराज के केंद्रों में धान शेष है। पिछले दिनों कलेक्टर ने भी धान के उठाव में तेजी लाने के निर्देश जारी किए थे।
उसके बाद भी उठाव में तेजी नहीं आई। डीएमओ टिकेंद्र राठौड़ ने बताया कि लगभग उठाव पूर्ण होने की ओर है। बारिश से कोई नुकसान नहीं हुआ है। सहकारी बैंक के नोडल
अधिकारी अविनाश शर्मा ने बताया कि उपार्जन केंद्रों में बहुत कम धान बाकी है। केंद्रों से जल्द ही शत-प्रतिशत धान का उठाव कर लिया जाएगा।
प्रतिवर्ष होती है देरी
धान का उठाव खरीदी के 72 घंटे के भीतर ही हो जाना चाहिए, लेकिन प्रतिवर्ष उठाव में देरी होती है। सबसे ज्यादा धीमी गति से धान का उठाव कोरोना काल में हुआ था। कोराना काल में सितंबर महीने तक धान उपार्जन केंद्रों में रखा था। मौसम विभाग ने एक बार फिर से पांच मई को अंधड़, तेज हवा के साथ
मौसम विभाग ने आठ मई तक यलो अलर्ट जारी किया गया है। बारिश होने की संभावना जताई है। फड़ों में धान तिरपाल के भरोसे है।
तिरपाल के उड़ जाने पर या फट जाने पर धान भीग सकता है। ज्यादातर केंद्रों से धान का उठाव पूर्ण हो चुका है। जिले में 2024-25 में 1 लाख 53 हजार
किसानों से 110 लाख क्विंटल धान की खरीदी की गई। इसमें 109 लाख क्विंटल धान का उठाव व परिवहन किया जा चुका है। लगभग एक लाख 21 हजार क्विंटल धान शेष है। जिले की समितियों द्वारा शीघ्र उठाव करने की मांग की जा रही है। जिससे नुकसान न हो।