बम निरोधक दस्ता बुलाया गया
सूचना मिलने पर प्रयागराज और जौनपुर से बम निरोधक दस्ता बुलाया गया। दस्ते ने भी पूरी ट्रेन की जांच की और पुष्टि की कि बम जैसी कोई चीज नहीं मिली। इसके बाद ट्रेन को करीब तीन घंटे की देरी से शाम 6 बजकर 2 मिनट पर रवाना किया गया।
अज्ञात कॉल के जरिए मिली जानकारी
रेलवे कंट्रोल रूम को एक अज्ञात कॉल के जरिए जानकारी दी गई थी कि काशी एक्सप्रेस की स्लीपर बोगियों एस-1 से एस-4 के बीच किसी बोगी में बम रखा गया है। इस पर तुरंत जीआरपी प्रयागराज को सूचित किया गया, जिसने जंघई स्टेशन प्रशासन और अन्य सुरक्षा एजेंसियों को अलर्ट कर दिया।
इस फर्जी कॉल से यात्रियों में दहशत फैल गई
जैसे ही ट्रेन दोपहर 3:02 बजे जंघई स्टेशन पहुंची, अधिकारियों ने ट्रेन को खाली करवा कर सघन जांच शुरू कर दी। मौके पर आरपीएफ इंस्पेक्टर आलोक तिवारी, जीआरपी प्रभारी अरुण कुमार मिश्रा, मीरगंज थानाध्यक्ष विनोद अंचल समेत कई अधिकारी मौजूद रहे।
जांच के बाद कोई विस्फोटक सामग्री नहीं पाई गई
बम की कोई पुष्टि न होने पर स्टेशन अधीक्षक कोमल सिंह ने बताया कि ट्रेन को बम निरोधक दस्ते की जांच और अनुमति के बाद रवाना कर दिया गया। जीआरपी प्रभारी कौशल किशोर ने भी कहा कि गहन जांच के बाद कोई विस्फोटक सामग्री नहीं पाई गई है। इस फर्जी कॉल से यात्रियों में दहशत फैल गई थी, हालांकि स्थिति को जल्द ही काबू में ले लिया गया। पुलिस अब उस व्यक्ति की तलाश में जुटी है जिसने यह झूठी सूचना दी थी।