गुजरात तकनीकी विश्वविद्यालय (जीटीयू) की चांदखेड़ा सेंट्रल लाइब्रेरी में 12 कंप्यूटर लगाए हैं। गुजरात विश्वविद्यालय (जीयू) में 20 कंप्यूटर वहीं भारतीय उद्यमिता विकास संस्थान (ईडीआईआई) में 10 कंप्यूटर, 5 किन्डल की व्यवस्था है।
65 फीसदी छात्र पढ़ते हैं ई-बुक
जीटीयू ग्रंथपाल डॉ.महेश सोलंकी ने बताया कि लाइब्रेरी में 22 हजार पुस्तकें, 50 हजार से ज्यादा ई-जर्नल हैं। 65 फीसदी विद्यार्थी ऑनलाइन बुक, ई-जर्नल, रिफरेंस बुक व अन्य ई-लाइब्रेरी की सेवा पसंद करते हैं। हार्डकॉपी किताबें पढ़ने वालों की संख्या 35 फीसदी के करीब है।
ई-बुक, पुस्तकों को समान तवज्जो
ईडीआईआई पुस्तकालय सूत्रों के तहत संस्थान में विद्यार्थियों के लिए रात 12 बजे तक बैठकर पढ़ने की सुविधा है। देखा गया है कि संस्थान में ऑनलाइन ई-बुक व अन्य जर्नल पढ़ने वालों की संख्या 50 फीसदी और हार्ड कॉपी किताबें पढ़ने वाले विद्यार्थियों की संख्या 50 फीसदी है। संस्थान में 35 हजार से ज्यादा पुस्तकें हैं। डिजिटल कनेक्ट काफी समृद्ध है।
जीयू में पुस्तक पढ़ने वालों की संख्या ज्यादा
जीयू ग्रंथपाल डॉ.योगेश पारेख ने पुस्तकालय का उपयोग करने वाले 60 फीसदी विद्यार्थी ग्रामीण पृष्ठभूमि के हैं। ज्यादातर पुस्तक पढ़ने में रुचि रखते हैं। 12 हजार सदस्यों में 750 नियमित हैं। छात्राओं, पीएचडी छात्रों के लिए अलग बैठक व्यवस्था है। 3.80 लाख पुस्तकें, 2.50 लाख ई-बुक सहित 4 लाख ई-रिसोर्स हैं। 2024 में एक साल में 58 हजार विद्यार्थी पुस्तकालय में आए। 21 हजार पुस्तक जारी की गईं, जमा हुईं।
ऑनलाइन बुक में लाने-ले जाने का झंझट नहीं
जीटीयू-बीबीए छात्रा ऐशा पटेल बताती हैं कि वह ऑनलाइन किताबें पढ़ना पसंद करती हैं, क्योंकि उसे लाने-ले जाने का झंझट नहीं होता है। जब चाहो तब मोबाइल पर पढ़ सकते हैं। इथोपिया निवासी पीएचडी छात्र अबीयू बताते हैं कि ऑनलाइन किताब, जर्नल न मिले तो हार्डकॉपी पढ़ते हैं। जीयू एमएड के छात्र किशन मेर बताते हैं कि ई-बुक पढ़ने में कॉन्फिडेंस नहीं आता है। वे पुस्तक को ही प्राथमिकता देते हैं।