Water Crises in CG: सुबह से रात तक पानी के लिए मशक्कत
ग्राम पंचायत मोहलाई की आबादी 500 है। पेयजल आपूर्ति के लिए गांव में 2 बोर हैं। हैंडपंप तो पहले ही सूख गया है। गर्मी में ग्रामीणों को पानी के लिए भटकना पड़ रहा है। पिछले 2 महीने से गांव वालों को जलसंकट से जूझना पड़ रहा। गांव स्थित तालाब में निस्तारी तो हो जा रही, लेकिन पेयजल और अन्य जरूरतों के लिए जलसंकट बनी हुई है। विडंबना है कि ग्रामीणों को पेयजल के लिए पैसे देने पड़ रहे।
गांव में सुबह-शाम पानी टैंकर पहुंच रहा। टैंकर की राशि आधी पंचायत और आधी राशि
ग्रामीणों को देनी पड़ रही। दुर्भाग्य है कि नलजल योजना भी यहां ठप है। घर-घर नल कनेक्शन तो दिया गया, लेकिन पानी नहीं आ रहा है। सोमवार को बड़ी संया में ग्रामीण कलेक्ट्रेट पहुंचे और जिला प्रशासन को जल्द से जल्द पानी की समूचित व्यवस्था कराने की मांग की। साथ ही गहरा बोर खनन कराकर पेयजल उपलब्ध कराने के लिए फरियाद लगाई।
ग्रामीणों ने 2 ट्रैक्टर मुंडी और 2 पानी टैंकर उपलब्ध कराने मांग की
ग्रामीणों ने कहा कि ग्राम पंचायत मोहलाई और सियादेही में जल संकट की समस्या दूर नहीं हो रही है। पानी के लिए सुबह 6 बजे से रात तक मशक्कत करनी पड़ती है। पानी टैंकर आते ही लोगों की भीड़ लग जाती है। आपस में विवाद की स्थिति बन रही है। बच्चों के साथ बड़े भी पानी जुटाने में लगे रहते हैं। एक वार्ड से दूसरे वार्ड तक सायकल से पानी ढो रहे हैं। एकलव्य आवासीय विद्यालय पथर्रीडीह में भी पानी की किल्लत है। उन्होंने जिला प्रशासन से जल्द से जल्द व्यवस्था दुरूस्त कराने की गुहार लगाई है।
कलेक्ट्रेट पहुंचे ग्रामीण निर्मलराम रजक, रोशन मरकाम, सोनाराम, लोकेश्वर, परस, नारायण, नीलकमल, दमोतिन, फूलेश्वरी, उत्तम कुमार, गनिता ने बताया कि पंचायत द्वारा टैंकर के माध्यम से गांव में पानी सप्लाई की जा रही है, लेकिन डिमांड ज्यादा होने से पानी की आपूर्ति नहीं हो पा रही है। टैंकर की आधी राशि ग्रामीण देते हैं और आधी राशि पंचायत वहन करता है। मोहलाई पंचायत को 2 ट्रैक्टर मुंडी और 2 पानी टैंकर उपलब्ध कराने की मांग किए हैं।
ग्रामीणों ने कहा कि
जलसंकट के कारण उनके गांवों में कोई अपनी बेटी का रिश्ता जोड़ना नहीं चाहते। कुछ रिश्ते सिर्फ जलसंकट के कारण टूट गए हैं। इस अवसर पर हेमलाल, आशाराम, श्यामा बाई, सेवती बाई साहू, जयंती बाई, मैना बाई, सत्यवती बाई, नर्मदा, जतिन, सोना बाई, हीरालाल, रामनारायण, शारदा, भगवती, सोहद्री बाई, समेत ग्रामीण बड़ी संया में उपस्थित थे।