बिना विषय अध्यापक के कैसे पढ़े विद्यार्थी पिछले करीब 4 वर्षों से जिला शिक्षा अधिकारी कार्यालय द्वारा बच्चों के भविष्य के साथ आंख मिचोली का खेल खेला जा रहा है। गणित व विज्ञान पढ़ाने वाले उक्त गुरुजी पिछले 4 वर्षों से कभी दो महीने विद्यालय में ड्यूटी देते हैं तो 4 महीने के लिए डीईओ ऑफिस में अपनी ड्यूटी देते हैं। कई बार ग्रामीणों के विरोध करने पर डीईओ कार्यालय से उन्हें कुछ दिन के लिए विद्यालय भेज दिया जाता है। फिर पुन: डीईओ कार्यालय में लगा दिया जाता है जबकि मूल पद बोहरे बद्री प्रसाद राजकीय उच्च माध्यमिक विद्यालय में है। ग्रामीणों का आरोप है कि अगर जिला शिक्षा अधिकारी उक्त अध्यापक को कार्यालय में रखना चाहते हैं तो हमारे बच्चों के भविष्य के साथ क्यों खिलवाड़ कर रहे हैं। उन्हें स्थाई रूप से कार्यालय में लगाकर विद्यालय में दूसरा अध्यापक लगा दिया जाए जिससे उनके बच्चों का भविष्य खराब ना हो।
कक्षा आठ में 75 में से 43 विद्यार्थियों की आई डी ग्रेड जानकारी के अनुसार बों.बद्री प्रसाद राजकीय उच्च माध्यमिक विद्यालय परौआ में सत्र 2023-24 में यानी पिछले सत्र में कक्षा आठवीं के विद्यार्थियों का रिजल्ट संतोषजनक नहीं रहा। 75 विद्यार्थियों में से 43 विद्यार्थी डी ग्रेड से पास हुए थे। बिना अध्यापक के विद्यार्थियों की शैक्षिक व्यवस्था सही किस प्रकार हो सकती है
– मामले की जानकारी करवाते हैं। उक्त मामले में नियम अनुसार अग्रिम कार्रवाई की जाएगी। – विनोद धवन, संयुक्त निदेशक शिक्षा विभाग भरतपुर