क्या है पूरा मामला?
यह घटना 3 अप्रैल की बताई जा रही है। पीड़ित व्यक्ति पेशे से कार चालक है और घटना वाले दिन कानपुर गया हुआ था। उसकी गैरहाजिरी में उसकी पत्नी अपने 8 साल और 2 साल की बेटियों को साथ लेकर घर से अचानक लापता हो गई।पति का आरोप है कि उसकी पत्नी को उसके 45 वर्षीय चचिया ससुर नंदराम ने बहला-फुसलाकर भगाया है।
पहले गुमशुदगी, अब अपहरण में बदला मामला
शुरुआत में ऊसराहार थाना में गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज की गई थी। तत्कालीन थानाध्यक्ष मंसूर अहमद ने इसे अपहरण मानने से इनकार कर दिया था। बाद में पीड़ित ने 14 मई को एसएसपी बृजेश श्रीवास्तव से मिलकर पूरे मामले की शिकायत की।एसएसपी के निर्देश पर नए थानाध्यक्ष बलराम मिश्रा ने केस को अपहरण में तब्दील कर जांच तेज कर दी है।
अब भी है घर वापसी की उम्मीद
पीड़ित का कहना है कि अगर उसकी पत्नी बेटियों सहित लौट आए, तो वह उसे माफ कर दोबारा घर में रखने को तैयार है। उसका कहना है कि वह अब तक ₹2 लाख रुपये पत्नी की तलाश में खर्च कर चुका है, लेकिन हर जगह से खाली हाथ लौटा है।पुलिस ने मामले की गंभीरता को देखते हुए दो टीमें गठित की हैं। संदिग्ध मोबाइल नंबरों को सर्विलांस पर लिया गया है। थानाध्यक्ष बलराम मिश्रा का कहना है कि मामला उनके कार्यभार संभालने से पहले का है, लेकिन अब हरसंभव कार्रवाई की जा रही है।