scriptस्मार्ट खेती की ओर कदम: ऑटोमेशन तकनीक के जरिए स्मार्ट सेंसर और कंट्रोलर खेत में पानी और उर्वरकों की सही मात्रा का करेंगे निर्धारण | Step towards smart farming: Through automation technology, smart sensors and controllers will determine the correct amount of water and fertilizers in the field | Patrika News
जयपुर

स्मार्ट खेती की ओर कदम: ऑटोमेशन तकनीक के जरिए स्मार्ट सेंसर और कंट्रोलर खेत में पानी और उर्वरकों की सही मात्रा का करेंगे निर्धारण

किसान एआई आधारित एप्लिकेशन के जरिए यह जानकारी प्राप्त कर सकेंगे कि कब, कितना पानी और खाद देना है।

जयपुरFeb 04, 2025 / 02:44 pm

MOHIT SHARMA

कोटपूतली-बहरोड़. अब जिले के किसान खेतों में पानी और खाद का छिडक़ाव सिर्फ मोबाइल के एक क्लिक से कर सकेंगे। राज्य सरकार ने ऑटोमेशन फर्टिगेशन एवं समुदाय आधारित एआई समाधान परियोजना की शुरुआत की है जिससे किसान आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई) की मदद से खेती को अधिक स्मार्ट और लाभदायक बना सकेंगे। जिले में एआई आधारित तकनीक के लिए 123 हैक्टेयर भूमि के साथ 500 फार्मर्स का लक्ष्य रखा गया है।
कैसे करेगा यह सिस्टम काम?
ऑटोमेशन तकनीक के जरिए स्मार्ट सेंसर और कंट्रोलर खेत में पानी और उर्वरकों की सही मात्रा का निर्धारण करेंगे। ड्रिप सिंचाई प्रणाली के माध्यम से पौधों को सटीक मात्रा में पोषक तत्व मिलेंगे। किसान एआई आधारित एप्लिकेशन के जरिए यह जानकारी प्राप्त कर सकेंगे कि कब, कितना पानी और खाद देना है। साथ ही फसल में लगने वाले रोगों, कीटनाशकों और उपचार की भी जानकारी मिलेगी।
योजना में मिलेगी सरकारी सब्सिडी
सरकार इस योजना को केंद्र की ‘पर ड्रॉप मोर क्रॉप’ योजना से जोडक़र किसानों को आर्थिक सहायता दे रही है। किसानों को प्रति हेक्टेयर 40,000 रुपए तक की सब्सिडी मिलेगी जबकि 0.40 से 5 हेक्टेयर तक के लिए अधिकतम 2 लाख रुपए का अनुदान दिया जाएगा।
ऐसे मिलेगा योजना का लाभ
-इच्छुक किसान ‘राज किसान साथी’ पोर्टल पर आवेदन कर सकते हैं।
-योजना का लाभ ‘पहले आओ पहले पाओ’ के आधार पर दिया जाएगा।
-किसानों को अपनी हिस्सेदारी जमा करनी होगी, जिसके बाद सरकार 75त्न तक का अनुदान देगी।
तकनीक से होगा फायदा
एआई तकनीक से जल और उर्वरक प्रबंधन में सुधार के साथ सटीक मात्रा में खाद और पानी का आंकलन होने से सही अनुपात में फसल की ग्रोथ होगी जिससे फसल की गुणवत्ता बढ़ेगी। साथ ही श्रम और समय की बचत भी। कृषि में युवाओं की भागीदारी को बढ़ावा भी मिलेगा जिससे कृषि में नवाचार की संभावना बनेगी।
इनका कहना है
सरकार की इस पहल से खेती को आधुनिक बनाने, किसानों की आय में बढ़ोतरी करने और युवाओं को खेती से जोडऩे की दिशा में एक बड़ा कदम है। अभी पायलट प्रोजेक्ट के रूप में इसे राजगढ़ ब्लॉक में चलाया गया है और जिले में उद्यान विभाग द्वारा 500 फार्मर्स का लक्ष्य निर्धारित किया गया है।अब किसान खेती को नए युग की स्मार्ट एग्रीकल्चर प्रणाली से जोड़ सकेंगे।
कन्हैया लाल मीणा, डिप्टी डायरेक्टर उद्यान, जिला कोटपूतली-बहरोड़

Hindi News / Jaipur / स्मार्ट खेती की ओर कदम: ऑटोमेशन तकनीक के जरिए स्मार्ट सेंसर और कंट्रोलर खेत में पानी और उर्वरकों की सही मात्रा का करेंगे निर्धारण

ट्रेंडिंग वीडियो