CG Election 2025: खुले बटन को दबाकर मतदान करना
निकाय चुनाव में मतदाता पहले अध्यक्ष फिर पार्षद के लिए मतदान करेंगे जिस पर प्रशासन द्वारा लगातार मतदाताओं को जागरूक किया जा रहा है। पहले अध्यक्ष पद के लिए सफेद लेवल में अपनी पसंद का अभ्यर्थी के सामने के खुले बटन को दबाकर मतदान करना है। पुष्टि के लिए बीप की छोटी आवाज आएगी उसके बाद पार्षद पद के लिए गुलाबी लेवल में अपनी पसंद के अभ्यर्थी के सामने के खुले बटन को दबाकर मतदान करना है। इसमें पुष्टि के लिए बीप की लंबी आवाज आने के बाद ही आपका मतदान पूर्ण होगा।
सुरक्षा व्यवस्था भी चाक चौबंद
अन्य आवश्यक जानकारी भी नागरिकों को देखकर मतदान हेतु प्रेरित किया जा रहा है। अंजर सिंह ने कहा कि ईवीएम मशीनों के संबंध में प्रचार प्रसार की आवश्यकता है क्योंकि इस बार एक ही मशीन में अध्यक्ष और पार्षद के लिए मतदान के दो बार वोट देना होगा। मतदाताओं को ईवीएम मशीन के संबंध में अधिक से अधिक जानकारी प्रदाय कर मतदाताओं को जागरूक करने के संबंध में निर्देशित किया है। उन्होंने नगरी निकाय से संबंधित सभी मतदाताओं से आग्रह किया है कि निर्वाचन तिथि 11 फरवरी को अपने मत का प्रयोग कर लोकतंत्र को मजबूती प्रदान करें।
पखांजूर तहसीलदार कुलदीप ठाकुर ने कहा है कि प्रशासन द्वारा मतदाताओं को मतदान करने जागरूक बनाया जा रहा है। कोई भी पात्र मतदाता मताधिकार से वंचित न रहे। उन्होंने अपील की है कि मतदाताओं को किसी भी तरह की अफवाहों पर ध्यान नहीं देना चाहिए। स्थानीय प्रशासन संपूर्ण रूप से परिपूर्ण शांतिपूर्ण एवं निष्पक्ष मतदान कराने के लिए कटीबद्ध है, सुरक्षा व्यवस्था भी चाक चौबंद है।
पुलिस और प्रशासन सक्रिय
CG Election 2025: चुनाव समाप्ति के 48 घंटे पहले से ही प्रचार प्रसार पर प्रतिबंध रहने का नियम है मगर पखांजूर क्षेत्र में नियमों का खुलेआम उल्लंघन देखने को मिला है। रविवार शाम 5 के बाद भी कई गाड़ियां के द्वारा लाउडस्पीकर लगाकर चुनाव संबंधी प्रचार प्रसार किया जा रहा था जिस पर प्रशासन की नजर नहीं पड़ी थी। निकाय चुनाव को देखते हुए पखांजूर क्षेत्र में
पुलिस प्रशासन ने फ्लैग मार्च निकाला। फ्लैग मार्च में बड़ी संख्या में हथियारबंद जवान शामिल हुए। जवानाें को देखने के लिए लोग सड़क पर काफी देर तक रुक गए। इस दौरान पुलिस ने आदर्श आचार संहिता का पालन करने और प्रशासन का सहयोग करने की अपील लोगों से की। उच्च अधिकारी ने बताया है कि आचार संहिता लागू होते ही क्षेत्र में शांति व्यवस्था कायम रखना और लोकसभा चुनाव निष्पक्ष कराने के उद्देश्य से पुलिस और प्रशासन सक्रिय हो गया है।