पेट्रोल पंप पर पेट्रोल-डीजल भरवाने जाते हैं तो जीरो देखना नहीं भूलते और अगर आप भूल जाएं तो पेट्रोल डालने से पहले पेट्रोल पंप का स्टाफ आपको याद दिला लेता है। अगर आप भी अब तक सिर्फ यूल डिस्पेंसर मशीन पर जीरो देखकर खुश होने वालों में से हैं जो जरा संभल जाइए।
CG News: पेट्रोल पंप में गड़बड़ी
मीटर पर जीरो दिखने के बाद भी पेट्रोल पंप पर आपके साथ गड़बड़ी हो सकती है लोगों को जानकारी ही नहीं है कि उनके जो पेट्रोल दिया जा रहा है उसकी घनत्व कितना हैं।
पेट्रोल की जांच के लिए मुक्त में मिलने वाली फिल्टर पेपर की जानकारी हैं। अगर कोई ग्राहक जानकारी भी रखता है तो मांगे जाने पर फिल्टर पेपर उपलब्ध नहीं कराया जाता है। वहीं सीधे ही ग्राहकों के गलत व्यवहार किया जाता हैं।
गुरुवार को दोपहर 3.30 बजें करीब पत्रिका का टीम भानुप्रतापपुर के कोठारी पेट्रोल पंप में मोटरसाइकिल में पेट्रोल डलवाने गए हुए थे तभी पेट्रोल पंप की लेडिस कर्मचारी से पेट्रोल के डेंसिटी के बारे में पूछा गया तो कोई जवाब नहीं था और कर्मचारी को फिल्टर पेपर के बारे में कोई जानकारी नहीं था।
जानें क्या है डेंसिटी और कैसे करें चेक?
इसके संबंध में पेट्रोल पंप के संचालक अंनत गोपाल कोठरी से जानकारी लिया गया तो 5 मिनट में फिल्टर पेपर उपलब्ध कराने की बात कही गई लेकिन उपलब्ध नहीं करा पाए जिससे पेट्रोल पंप संचालक पर कई सवाल खड़े हो रहे हैं। डेंसिटी का भी रखें याल: पेट्रोल पंप पर जब भी यूल डलवाने जाए तो मीटर पर सिर्फ जीरो ही चेक नहीं करें बल्कि पेट्रोल-डीजल की डेंसिटी का भी याल रखें। आपको बता दें कि डेंसिटी का सीधा संबंध पेट्रोल या डीजल की शुद्धता से है। सरकार ने पेट्रोल-डीजल की शुद्धता के लिए इसके मानक तय किए हैं। लेकिन इस मानक में छेड़खानी कर
पेट्रोल पंप पर आपके साथ फ्रॉड हो सकता है। खराब क्वालिटी वाला पेट्रोल आपकी गाड़ी को नुकसान पहुंचाता है।
पेट्रोल की डेंसिटी चेक करने का तरीका
पेट्रोल की डेंसिटी चेक करने के लिए आपको कही जाने की जरूरत नहीं है। आपको इसकी डिस्प्ले मशीन पर दिख जाएगी। पेट्रोल-डीजल की रसीद पर भी इसकी जानकारी होती है। अगर आप चाहे तो पेट्रोल पंप पर डेंसिटी जार से इसकी जांच करवा सकते हैं। इसके अलावा आप फिल्टर पेपर की मदद से डेंसिटी चेक कर सकते हैं। फिल्टर पेपर पर पेट्रोल की दो बूंद डाले। 2 मिनट में पेट्रोल उड़ जाएगा। अगर सूखने के बाद पेपर पर गहरे रंग का दाग दिखे तो समझ जाएं कि पेट्रोल मिलावटी है। डेंसिटी का मतलब किसी पदार्थ का घनत्व है। बोलचाल की भाषा में समझे तो पदार्थ या किसी उत्पाद के गाढ़ेपन को आप उसकी डेंसिटी समझ सकते हैं। यानी किसी प्रोडक्ट को तैयार करने में उसमें कौन सा प्रदार्थ कितना मिलाना है ये तय होता है। जब निश्चित मात्रा में तत्वों को मिलाकर कोई प्रोडक्ट तैयार किया जाता है तो उसी के आधार पर उस प्रोडक्ट की क्वालिटी तय की जाती है। अगर इसमें गड़बड़ी या मिलावट की गई तो जाहिर सी बात है कि आपको सही प्रोडक्ट नहीं मिलेगा।
सरकार ने
पेट्रोल-डीजल की डेंसिटी तय कर रखी है। अगर इसमें किसी भी तरह की मिलावट हो जाए तो प्रोडक्ट की क्वालिटी गिर जाती है। पेट्रोल की शुद्धता डेंसिटी 730 से 800 किलोग्राम प्रति क्यूबिक मीटर है तो वहीं डीजल की शुद्धता डेंसिटी 830 से 900 किलोग्राम प्रति क्यूबिक मीटर है। हालांकि तापमान में बदलाव के कारण इसके आंकड़े फिक्स नहीं है। ये ऊपर-नीचे होते रहते हैं। रोज सुबह पेट्रोल-डीजल की कीमत के साथ उसकी डेंसिटी भी अपडेट की जाती है। अगर पेट्रोल पंप पर तय रेंज से डेंसिटी नीचे या ऊपर है तो समझ जाइए की इसमें मिलावट हुई है।