Juice For Eye Health: आंखों की दृष्टि को बेहतर बनाए रखने के लिए पी सकते हैं ये 5 हेल्दी जूस
Juice For Eye Health: आंखों की देखभाल के लिए कुछ हेल्दी जूस पीना एक अच्छा विकल्प हो सकता है। यहां 5 ऐसे जूस हैं जो आंखों की रोशनी बढ़ाने में मदद कर सकते हैं। ( Healthy Drinks For Improve Eye Sight)
Juice For Eye Health: आजकल बढ़ता स्क्रीन टाइम, तनाव और पोषण की कमी आंखों की रोशनी पर बुरा असर डाल रहे हैं।अगर आपकी दूर या पास की नजर कमजोर हो रही है, तो कुछ नेचुरल जूस इसे सुधारने में मदद कर सकते हैं। ये जूस न केवल आंखों की रोशनी बढ़ाने में सहायक होते हैं, बल्कि आंखों को स्वस्थ और तरोताजा भी रखते हैं।आईए जानते हैं उन 5 जूस के बारे में, जिनके सेवन से आपकी आंखों की रोशनी बेहतर हो सकती है।
गाजर में विटामिन A और बीटा-कैरोटीन अधिक मात्रा में होता है, जो रेटिना की सेहत के लिए बेहद जरूरी है। यह जूस आंखों की रोशनी को बेहतर बनाने और मोतियाबिंद (Cataracts) जैसी समस्याओं से बचाव में मदद करता है।नियमित सेवन से आंखों की कमजोरी दूर होती है और दृष्टि में स्पष्टता आती है।
पालक का जूस (Spinach juice)
पालक में ल्यूटिन और जैक्सैन्थिन नामक एंटीऑक्सिडेंट्स होते हैं, जो आंखों को UV किरणों से होने वाले नुकसान से बचाते हैं। साथ ही यह जूस आंखों की थकान को भी कम करता है।यह आंखों को सूखापन और जलन से भी बचाता है।
आंवला में विटामिन C भरपूर मात्रा में होता है, जो आंखों के लिए फायदेमंद होता है। यह आंखों में ब्लड सर्कुलेशन को बढ़ाता है और मोतियाबिंद (Cataracts)जैसी समस्याओं से बचाव करता है। रोजाना सुबह खाली पेट आंवले का रस पीना लाभकारी होता है।यह आंखों की मांसपेशियों को मजबूत बनाकर नजर की सतर्कता बढ़ाता है।
टमाटर का जूस (Tomato juice)
टमाटर में लाइकोपीन और विटामिन C पाया जाता है, जो आंखों को पोषण देता है और धुंधली नजर की समस्या को कम करने में मदद करता है।इससे आंखों की रोग प्रतिरोधक क्षमता भी बढ़ती है।
चुकंदर और सेब का मिक्स जूस (Beetroot and Apple Mixed Juice)
चुकंदर में आयरन और सेब में एंटीऑक्सिडेंट्स होते हैं, जो मिलकर आंखों के रक्त संचार को सुधारते हैं और दृष्टि को बेहतर बनाते हैं।यह मिश्रण आंखों को तनाव से बचाकर ताजगी महसूस कराता है।
डिसक्लेमरः इस लेख में दी गई जानकारी का उद्देश्य केवल रोगों और स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं के प्रति जागरूकता लाना है। यह किसी क्वालीफाइड मेडिकल ऑपिनियन का विकल्प नहीं है। इसलिए पाठकों को सलाह दी जाती है कि वह कोई भी दवा, उपचार या नुस्खे को अपनी मर्जी से ना आजमाएं बल्कि इस बारे में उस चिकित्सा पैथी से संबंधित एक्सपर्ट या डॉक्टर की सलाह जरूर ले लें।