एयरपोर्ट के नियमित यात्री बन गए
नागौर के व्यापारी अब एयरपोर्ट के नियमित यात्री बन गए हैं। मुम्बई, चेन्नई, हैदराबाद जैसे व्यापारिक हब से आ रहे नागौरी व्यापारी अब हवाई जहाजों में यात्रा करते हुए देश-विदेश में अपना व्यापार फैलाने में लगे हैं। कुछ व्यापारी तो ऐसे हैं जो रोज़ फ्लाइट से आना-जाना करते हैं, और उनके लिए किराया एक मामूली खर्च जैसा हो चुका है। ये वे लोग हैं, जिनकी एक दिन की कमाई 5-10 करोड़ रुपए तक हो सकती है।
पर्यटकों और निवेशकों का नया ठिकाना
नागौर का हवाई अड्डा सिर्फ व्यापारियों के लिए नहीं, पर्यटकों और निवेशकों के लिए भी एक आकर्षण का केंद्र बन चुका है। पहले जहां लोग बसों और ट्रेनों में घंटों की यात्रा करते थे, वहीं अब फ्लाइट से सीधे नागौर पहुंचकर यहां के ऐतिहासिक स्थलों का दौरा कर रहे हैं। साथ ही निवेशकों के लिए भी यह एक सुनहरा अवसर बन चुका है, खासकर खींवसर-माडपुरा और मूण्डवा में बड़ी इंडस्ट्री भी आकर्षित कर रही है।
शिक्षा के क्षेत्र में भी विकास
हवाई अड्डे के बाद शिक्षा के क्षेत्र में भी यहां का योगदान महत्वपूर्ण हो गया है। मेडिकल व नर्सिंग कॉलेज, कृषि और पॉलिटेक्निक कॉलेज जैसे शैक्षणिक संस्थान अब देशभर के छात्रों को आकर्षित कर रहे हैं। ऐसे में यहां के छात्रों के लिए फ्लाइट से आवागमन करना भी अब सामान्य बात हो गई है।
नई ऊंचाई पर एयरपोर्ट
हवाई अड्डे का रन-वे अब 4500 मीटर लंबा और 60 मीटर चौड़ा हो गया है, जिससे बड़े प्लेन के आने-जाने की सुविधा बढ़ गई है। यह विकास न केवल नागौर के लिए, बल्कि पूरे क्षेत्र के लिए एक बड़ा कदम है। अब नागौर भी महत्वपूर्ण हवाई अड्डों में शामिल हो चुका है, जहां से फ्लाइट्स कई प्रमुख शहरों के लिए नियमित रूप से ‘उड़ान’ भरती हैं।‘ बुरा ना मानो होली है ’