बीजेपी ने लगाया तुष्टीकरण की राजनीतिक का आरोप
भाजपा नेता रविशंकर प्रसाद ने शनिवार को एक प्रेस वार्ता में कहा है कि कर्नाटक सरकार द्वारा मुसलमानों के लिए 4 प्रतिशत आरक्षण का प्रस्ताव राहुल गांधी के पूर्ण संरक्षण में पारित किया गया है। हम यह पूरी जिम्मेदारी के साथ कह रहे हैं। लोकसभा में विपक्ष के नेता पर निशाना साधते हुए प्रसाद ने कहा कि कर्नाटक सरकार का कदम “राहुल गांधी की मानसिकता” को दर्शाता है।
कर्नाटक में मुस्लिम कॉन्ट्रैक्टर्स को सरकारी टेंडर्स में 4% रिजर्वेशन
सिद्धारमैया मंत्रिमंडल ने शनिवार को कर्नाटक सार्वजनिक खरीद पारदर्शिता (केटीपीपी) अधिनियम में संशोधन को मंजूरी दे दी। इससे एक करोड़ रुपये तक की निविदाओं में मुस्लिम ठेकेदारों के लिए 4 प्रतिशत आरक्षण का रास्ता साफ हो गया, जिससे काफी नाराजगी पैदा हो गई।
कर्नाटक तक सीमित नहीं, राष्ट्रव्यापी होगा प्रभाव
रविशंकर प्रसाद ने कहा कि यह मुद्दा केवल कर्नाटक तक सीमित नहीं है, बल्कि इसका राष्ट्रव्यापी प्रभाव है। उन्होंने कहा कि स्वतंत्रता संग्राम के दौरान अलग विश्वविद्यालय, अलग निर्वाचिका जैसे छोटे-छोटे मुद्दे अंततः स्वतंत्रता के दौरान भारत के विभाजन का कारण बने।
सरकारी ठेकों में आरक्षण पूरी तरह असंवैधानिक
उन्होंने आगे कहा, भाजपा इसके खिलाफ है और हम इसका विरोध करते रहेंगे। भारतीय संविधान के तहत धर्म आधारित आरक्षण की अनुमति नहीं है। सरकारी ठेकों में आरक्षण पूरी तरह असंवैधानिक है। सामाजिक पिछड़ेपन के आधार पर इसकी अनुमति दी जा सकती है, लेकिन किसी धार्मिक समुदाय को सीधे तौर पर आरक्षण देने की अनुमति नहीं है। वोट बैंक राजनीति के लिए सार्वजनिक संसाधनों का दुरुपयोग
भाजपा सांसद तेजस्वी सूर्या ने इसे धर्मांतरण को बढ़ावा देने वाला कदम बताया है। सूर्या ने कहा कि यह सरकार वोट बैंक की राजनीति के लिए सत्ता और सार्वजनिक संसाधनों का दुरुपयोग कर रही है और हमारी अर्थव्यवस्था को राजनीतिक अवसरवाद के खेल के मैदान में बदल रही है।