CG Electricity Bill: जिन उपभोक्ताओं के बिल पहले के महीनों में 1000-2000 रुपए के आसपास आता था, वह अक्टूबर माह में 5000 से ज्यादा आया है। इससे आम उपभोक्ता परेशान है। कई उपभोक्ताओं ने बिजली विभाग के कार्यालयों में शिकायत भी है, लेकिन उनकी शिकायत पर कोई
बिजली बिल में सुधार पर कोई कार्रवाई नहीं हो रही है। कई उपभोक्ताओं ने अतिरिक्त सुरक्षा निधि के नाम बिजली विभाग के मनमाने वसूली की जानकारी पत्रिका को दी है।
CG Electricity Bill: सुरक्षा निधि में जुड़ेगा
इस संबंध में सीएसपीडीसीएल के अधिकारियों का कहना है कि अतिरिक्त सुरक्षा निधि उनके 12 महीने बिजली प्रयोग किए गए यूनिट खपत के औसत के आधार पर लिया जाता है। विद्युत नियामक आयोग के नियमानुसार ही अतिरिक्त सुरक्षा नहीं ली जा रही है। अतिरिक्त
सुरक्षा निधि उपभोक्ता के सुरक्षा निधि में जुड़ जाती है। उपभोक्ता बिजली कनेक्शन कटवाने पर उसकी सुरक्षा निधि वापस कर दी जाएगी।
किस्तों में दे सकते हैं अतिरिक्त सुरक्षा निधि
सीएसपीडीसीएल के रायपुर परिक्षेत्र के एक्जीक्यूटिव डायरेक्टर जेएस नेताम का इस संबंध में कहना है कि अतिरिक्त सुरक्षा निधि उपभोक्ता के गत वर्ष से अधिक खपत करने पर सालभर के औसत निकालकर प्रतिवर्ष अक्टूबर माह में उपभोक्ता से लिया जाता है। अतिरिक्त सुरक्षा निधि को उपभोक्ता किस्तों में भी जमा कर सकते हैं। इसके लिए उपभोक्ता को अपने विद्युत जोन कार्यालय आवेदन करना होगा, जिसके बाद उपभोक्ता को किस्तों में अतिरिक्त सुरक्षा निधि देने की सुविधा प्रदान की जाएगी। केस-1: छोटा अशोक नगर गुढिय़ारी की उपभोक्ता साधना गुप्ता ने बताया कि उसके यहां बिजली बिल हर महीने 2000 रुपए आता था। लेकिन अक्टूबर माह में 5000 रुपए बिल आया है, जिसमें आधे से अधिक अतिरिक्त सुरक्षा के नाम पर जुड़ा है।
केस-2: कोटा निवासी दीपिका ने बताया कि उसके यहा प्रति माह 500-1000 बिजली आता है। लेकिन अक्टूबर में बिजली बिल 2000 से ज्यादा आया है, जिसमें 1000 रुपए अतिरिक्त सुरक्षा के रूप जुड़ा है।
केस-3; दावड़ा कॉलोनी निवासी जयकृष्ण दुबे का भी बीते 3 माह से बिजली बिल बढ़ा हुआ आ रहा है। पहले बिजली बिल 600-1000 आ रहा था। लेकिन पिछले तीन महीने से 3000-5000 रुपए तक बिजली बिल आ रहा है।