CG News: हमें हमेशा राष्ट्र को पहले रखना चाहिए: उपराष्ट्रपति
यह अवैध प्रवासन अब एक नासूर बन चुका है। यह एक ऐसी समस्या बन चुकी है, जिसे हमें संभालना होगा, क्योंकि यह अब अराजकता की दिशा में बढ़ रही है।
उपराष्ट्रपति ने कहा कि कोई भी देश चुनावी तंत्र पर प्रभाव डालने वाले लाखों अवैध प्रवासियों को सहन नहीं कर सकता। वे आसानी से समर्थन प्राप्त कर लेते हैं। जब लोग छोटी-छोटी राजनीति में सोचते हैं, तो हमें हमेशा राष्ट्र को पहले रखना चाहिए।
देश में अवैध प्रवासी का कोई औचित्य नहीं हो सकता। अगर यह लाखों में है, तो इसके हमारे अर्थव्यवस्था पर प्रभाव को देखें। ये हमारे संसाधनों, रोजगार, स्वास्थ्य क्षेत्र, और शिक्षा क्षेत्र पर दबाव डालते हैं। अवैध प्रवासियों की इस विशाल समस्या का समाधान में अब और देर नहीं की जा सकती। हर बीतता दिन इसे और जटिल बना रहा है, हमें इस समस्या से निपटने की जरूरत है।
यूसीसी लागू करने की वकालत की
उपराष्ट्रपति ने विद्यार्थियों को यूसीसी की विस्तार से जानकारी देते हुए उसे लागू करने की वकालत भी की। उन्होंने कहा, यूसीसी को लागू किया जाना चाहिए। हमें केवल चुनावी गणनाओं के संकुचित दृष्टिकोण से प्रभावित नहीं होना चाहिए। उन्होंने कहा, यह हमारे संविधान के निर्देशात्मक सिद्धांतों में है। शासन पर यह दायित्व डाला गया है कि कानून लाए, यूनिफॉर्म सिविल कोड लागू करें। एक राज्य, उत्तराखंड ने इसे लागू किया है। हम संविधान में लिखी किसी चीज का विरोध कैसे कर सकते हैं?
जनसंख्या विस्फोट और योजनाबद्ध धर्मांतरण पर जताई चिंता
CG News: उपराष्ट्रपति ने जनसंख्या विस्फोट और योजनाबद्ध धर्मांतरण को लेकर अपनी चिंता जताई। उन्होंने कहा, हमारे राष्ट्रीयता के लिए जनसंख्या विस्फोट एक गंभीर खतरे के रूप में उभर रहा है।
(chhattisgarh news) जैविक जनसंख्या विकास शांति और सामंजस्यपूर्ण होता है, लेकिन अगर जनसंख्या विस्फोट केवल लोकतंत्र को अस्थिर करने के लिए हो, तो यह एक चिंता का विषय बन जाता है। फिर धर्मांतरण की योजनाबद्ध कोशिशें होती हैं, जो प्रलोभन के माध्यम से देश की जैविक जनसंख्या को बदलने का उद्देश्य रखती हैं।