ईरान-इजराइल जंग के चलते हवाई क्षेत्र बंद था
ईरान में इजराइल और ईरानी सेनाओं के बीच मिसाइल और ड्रोन हमलों का दौर जारी है, जिसके कारण अधिकतर अंतरराष्ट्रीय उड़ानों के लिए ईरान का हवाई क्षेत्र बंद था। हालांकि, भारत को विशेष मार्ग दे कर इस स्थिति में अपने नागरिकों की निकासी का रास्ता खोला गया है।
ईरान से भारतीय छात्रों की सुरक्षित निकासी की प्रक्रिया
भारत सरकार ने बुधवार को ‘ऑपरेशन सिंधु’ की शुरुआत की थी, जिसके तहत ईरान से भारतीय नागरिकों को निकाला जा रहा है। ईरान के संघर्ष क्षेत्र में फंसे छात्रों को सरकार विशेष सुविधा प्रदान कर रही है, ताकि उन्हें सुरक्षित रूप से बाहर निकाला जा सके।
ईरान और आर्मेनिया के बीच तालमेल से छात्रों की निकासी
विदेश मंत्रालय के अनुसार, इस सप्ताह की शुरुआत में उत्तरी ईरान से 110 भारतीय छात्रों को सड़क मार्ग से आर्मेनिया के येरेवन ले जाया गया। वहां से विशेष उड़ान से ये छात्र 19 जून को दिल्ली पहुंचे। विदेश मंत्रालय ने ईरान और आर्मेनिया की सरकारों को धन्यवाद दिया, जिन्होंने यह निकासी प्रक्रिया सफल बनाने में मदद की।
ईरान के जंग प्रभावित क्षेत्रों से भारतीय छात्रों की निकासी
ईरान के पश्चिमी अज़रबैजान प्रांत में स्थित उर्मिया मेडिकल यूनिवर्सिटी में पढ़ने वाले अधिकतर भारतीय छात्र जंग के कारण खतरे में थे। इन क्षेत्रों में मिसाइल गतिविधियों और सैन्य कार्रवाई के चलते छात्रों के लिए यह एक बड़ा संकट था। इन छात्रों में से ज्यादातर जम्मू और कश्मीर के निवासी हैं।
इजराइल-ईरान जंग और भारतीय नागरिकों की सुरक्षा
इजराइल और ईरान के बीच जंग तेज हो गई है, जिससे दोनों देशों में बड़े पैमाने पर सैन्य कार्रवाइयाँ हो रही हैं। इस जंग के कारण कई नागरिकों की जान भी जा चुकी है। भारत सरकार अपनी नागरिकों की सुरक्षा को सर्वोच्च प्राथमिकता देती है और इस संकट के समय ईरान से भारतीयों को सुरक्षित निकालने की प्रक्रिया में सक्रिय रूप से भाग ले रही है।
परिजनों में राहत, सरकार के फैसले की सराहना
ईरान में फंसे छात्रों की वतन वापसी की खबर के बाद देशभर में खासकर जम्मू-कश्मीर में उनके परिजनों ने राहत की सांस ली है। कई माता-पिता ने सोशल मीडिया और स्थानीय मीडिया के माध्यम से भारत सरकार और विदेश मंत्रालय का आभार जताया। जम्मू के एक छात्र के पिता ने कहा, “हमें लगता था कि हम अपने बेटे को कभी नहीं देख पाएंगे, लेकिन भारत सरकार ने जो किया, वो काबिल-ए-तारीफ है।”
शनिवार की दो उड़ानों से आएंगे और छात्र
आज रात पहुंच रही पहली उड़ान के बाद, शनिवार को दो और विशेष फ्लाइट्स के जरिए भारतीय छात्रों को वापस लाया जाएगा। इनमें से एक उड़ान सुबह और दूसरी शाम को दिल्ली में लैंड करेगी। विदेश मंत्रालय और एयरपोर्ट अथॉरिटीज़ ने इन उड़ानों के लिए विशेष इंतज़ाम किए हैं, जिनमें हेल्थ चेकअप, डोक्युमेंट वेरिफिकेशन और परिजनों से मुलाकात की सुविधा शामिल है।
मेडिकल छात्रों की पढ़ाई पर संकट, अगला सत्र प्रभावित
ईरान के उर्मिया मेडिकल यूनिवर्सिटी में पढ़ने वाले छात्रों को न केवल सुरक्षा की चिंता थी, बल्कि उनकी पढ़ाई भी बुरी तरह प्रभावित हुई है। विश्वविद्यालयों के संचालन में रुकावट, इंटरनेट ब्लॉक और अस्थायी बंदी ने मेडिकल कोर्स के सिलेबस पर असर डाला है। छात्रों ने बताया कि वे जल्द ही भारत में अपनी पढ़ाई जारी रखने के विकल्प तलाश करेंगे।