विटामिन बी कॉम्प्लेक्स दवा का सैंपल अक्टूबर 2024 में औषधि विभाग ने विभागीय ड्रग वेयरहाउस से लिया था। यह दवा इंदौर की एक फार्मा कंपनी ने अप्रैल 2024 में बनाई थी, जिसकी एक्सपायरी दो साल की थी। लेकिन हाल ही में आई लैब रिपोर्ट के अनुसार, दवा को अधोमानक घोषित किया गया। औषधि विभाग ने इस रिपोर्ट को सीएमओ कार्यालय भेज दिया, जिसके बाद दवा का वितरण तत्काल रोक दिया गया और आवश्यक निर्देश जारी किए गए।
सीएमओ ने मांगा स्टॉक का रिकॉर्ड
सीएमओ डॉ. विश्राम सिंह ने सभी सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों (सीएचसी) और प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों (पीएचसी) से विटामिन बी कॉम्प्लेक्स दवा के स्टॉक की पूरी जानकारी मांगी है। इसमें पूछा गया है कि अस्पतालों को कितनी मात्रा में यह दवा सप्लाई की गई और मरीजों को कितनी बांटी जा चुकी है।
कार्रवाई केवल दवा वापसी तक सीमित
लगातार दवाओं के अधोमानक पाए जाने के बावजूद अब तक ठोस कार्रवाई नहीं की गई है। केवल दवाओं की वापसी तक ही कार्रवाई सिमट गई है। इस वजह से मरीज सरकारी अस्पतालों की दवाएं लेने से मना कर रहे हैं और बाहर से दवा खरीद रहे हैं।
अब तक ये दवाएं भी फेल हो चुकी हैं
अगस्त 2024: बीपी नियंत्रण की दवा टेल्मीसार्टन का सैंपल अधोमानक निकला। जनवरी 2023: कैप्सूल सिफेक्सिम 250 एमजी का सैंपल फेल होने के बाद वापस मंगाया गया। मार्च 2024: सिप्रोफ्लॉक्सिन आईपी 500 एमजी टेबलेट का सैंपल फेल हुआ और वितरण रोक दिया गया। अप्रैल 2024: एस्प्रिन गैस्ट्रो रेसिस्टेंट आईपी 75 एमजी जांच में अधोमानक निकली, जिसके बाद दवा वापस मंगा ली गई।
अप्रैल 2024: आंखों की दवा प्रीडेनिसोलोन सोडियम फॉस्फेट जांच में मानक अनुरूप नहीं मिली। दिसंबर 2024: बच्चों को दी जाने वाली एमोक्सिसिलिन एंड पोटेशियम क्लावुलैनेट सिरप अधोमानक पाई गई।