2018 के बाद तबादले नहीं प्रदेश में वर्ष 2018 में भाजपा सरकार के कार्यकाल में तृतीय श्रेणी शिक्षकों के तबादले हुए थे। इसके बाद कांग्रेस सरकार की ओर से तबादलों के लिए आवेदन लिए गए लेकिन सूची जारी नहीं हो सकी। अब भाजपा सरकार आने के बाद शिक्षकों को उम्मीद है कि सरकार तबादलों का तोहफा देगी।
तबादले किस नीति से होंगे अभी संशय शिक्षा विभाग में तबादले नीति से होंगे या फिर वहीं पुराना सिफारिश का खेल चलेगा, इसको लेकर अभी संशय बना हुआ है। वर्ष 1994 में पूर्व शिक्षा सचिव की अध्यक्षता में तबादलों के लिए कमेटी बनी। प्रारूप बना दिया, रिपोर्ट लागू नहीं हो सकी। फिर 1997-98 में नीति लाने की कवायद हुई। वर्ष 2005 में शिक्षकों के तबादलों में राहत देने के लिए दिशा-निर्देश जारी हुए। इसके बाद 2015 से 18 तक भी तबादलों के लिए मंत्री मंडलीय समिति के साथ अन्य कमेटी बनाई। लेकिन प्रारूप लागू नहीं हो सका। पिछली सरकार में भी तत्कालीन शिक्षा मंत्री गोविंद सिंह डोटासरा ने 2020 में तबादलों के लिए कमेटी बनाई। वर्ष 2021 में करीब 85 हजार शिक्षकों से आवेदन भी लिए। फिर मंत्री बी.डी. कल्ला ने भी नीति को अंतिम रूप देने की बात कही, लेकिन चुनाव आ गए। अब भाजपा सरकार की ओर से तबादला नीति का 18 महीने से दावा किया जा रहा है।