कमल नाथ ने अपने पत्र में बताया कि छिंदवाड़ा और पंधुरना में आदिवासियों की जमीन गैर-कानूनी रूप से गैर-आदिवासी संस्थाओं को हस्तांतरित की जा रही है। उन्होंने स्थानीय प्रशासन पर भूमाफिया के खिलाफ कार्रवाई न करने का आरोप लगाया और मौजूदा कानूनों के तहत आदिवासियों के अधिकारों की रक्षा के लिए त्वरित कदम उठाने की मांग की। बता दें कि यह मुद्दा आदिवासियों की जमीन और पहचान से जुड़ा होने के कारण काफी संवेदनशील है।
आदिवासियों को ठग रहे भूमाफिया
पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने मुख्यमंत्री मोहन यादव को लिखे पत्र में कहा है कि, ‘छिंदवाड़ा जिले के महत्वपूर्ण विषय की ओर आपका ध्यान आकर्षित करना चाहता हूं। जिला छिंदवाड़ा आदिवासी बाहुल्य क्षेत्र हैं। जिले के जामई, तामिया, हर्रई, अमरवाड़ा, बिछुआ एवं पांढुर्णा जैसे क्षेत्र आदिवासी क्षेत्र हैं। इन क्षेत्रों में सम्पूर्ण रूप से आदिवासी परिवार निवासरत हैं। वे अपनी भूमि पर कृषि कार्य कर गुजर-बसर करते हैं।’ कमलनाथ ने लिखा कि, अत्यंत दुख का विषय है कि वर्तमान में आदिवासियों की भूमि को ठगकर हड़पने (Tribes land Grabbing Issue) का काम भू माफियाओं द्वारा छिंवाड़ा संसदीय क्षेत्र में किया जा रहा है। जिला प्रशासन द्वारा प्रत्यक्ष अथवा अप्रत्यक्ष रूप से सहयोग कर आदिवासी समुदाय के हितों पर कुठाराघात किया जा रहा है।
यहां चल रहा काला कारोबार
कमलनाथ ने सीएम मोहन यादव (CM Mohan Yadav) को साफ तौर पर यह जानकारी दी है कि यहां आदिवासियों की जमीनों का काला कारोबार चलाया जा रहा है। कैसे भूमाफिया योजना बनाकर आदिवासियों की जमीन को कम दामों में खरीद-बेच रहे हैं। बाजार मूल्य से बहुत ही कम दर पर जमीनों का एग्रीमेंट कर खरीदी-बिक्री करवाई जा रही है। यही नहीं एग्रीमेंट कम्प्लीट होने के बाद जमीन का नामांतरण गैर आदिवासी व्यक्तियों के नाम पर किया जा रहा है। कमलनाथ ने आगे कहा कि ये किसी भी रूप में आदिवासियों के हित में नहीं है।
जिला प्रशासन पर लगाया आरोप
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता कमलनाथ ने सीएम को पत्र में जिला प्रशासन पर भूमाफियों को संरक्षण देने का आरोप लगाते हुए कहा कि, आदिवासी समुदाय भू-माफियाओं के शोषण का शिकार हो रहा है। उन्होंने कहा कि मप्र भू-राजस्व संहिता में आदिवासियों के भूमि अधिकारों के संरक्षण के लिए प्रावधान है, उन प्रावधानों का उपयोग कर दूसरे जिलों में आदिवासियों की अवैधानिक रूप से हस्तांतरित भूमि पुन: आदिवासियों को उपलब्ध कराकर कब्जा दिलाया गया है। इस तरह की कार्यवाही बुदनी में की गई है, जिसकी जानकारी मुझे जानकारी दी गई है।
आदिवासियों को मिले न्याय
पूर्व सीएम कमलनाथ ने सीएम मोहन यादव से मांग की है कि वे छिंदवाड़ा में आदिवासियों की भूमियों के हस्तांतरण के संबंध में निष्पक्ष जांच करवाएं, तथा भूमाफियों से आदिवासियों को उनकी भूमि वापस दिलाएं।