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RSS जैसा प्रतिबद्ध कार्यकर्ता चाहिए… संघ के मुरीद क्यों हुए शरद पवार? बड़े नेता ने किया खुलासा

Sharad Pawar on RSS : राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एसपी) प्रमुख शरद पवार ने गुरुवार को पार्टी कार्यकारिणी की बैठक में आरएसएस की सराहना की है।

मुंबईJan 10, 2025 / 01:10 pm

Dinesh Dubey

Sharad Pawar Mohan Bhagwat
राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (NCP) के चाचा-भतीजा गुटों के विलय की अटकलों के बीच एनसीपी के संस्थापक शरद पवार ने राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) की प्रशंसा की है। उन्होंने कहा कि संघ ने महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव की प्रचार की रणनीति बनायीं थी। इसलिए लोकसभा में पस्त हुई महायुति को विधानसभा में प्रचंड जीत मिली। शरद पवार के इस बयान की अब राजनीतिक गलियारों में चर्चा हो रही है। कई तरह के कयास लगाए जा रहे हैं। हालांकि, अब शरद पवार गुट के वरिष्ठ नेता जितेंद्र अव्हाड ने इस पूरे मुद्दे पर पार्टी का रुख स्पष्ट किया है।
राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एसपी) प्रमुख शरद पवार ने गुरुवार को पार्टी कार्यकारिणी की बैठक में आरएसएस की सराहना की है। इस बैठक में महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में हार और आगामी चुनावों की तैयारियों पर चर्चा हुई।

शरद पवार बोले- RSS जैसा प्रतिबद्ध कार्यकर्ता चाहिए

मुंबई में एनसीपी (एसपी) प्रमुख शरद पवार की अध्यक्षता में पार्टी कार्यकारिणी की दो दिवसीय बैठक हुई। इस दौरान अपने पार्टी के नेताओं को संबोधित करते हुए पवार ने आरएसएस के काम करने के तरीके और संघ के सदस्यों के निस्वार्थ समर्पण की जमकर तारीफ की।
शरद पवार ने अपनी पार्टी से शाहू महाराज, महात्मा फुले, बाबा साहेब अंबेडकर और यशवंतराव चव्हाण के विचारों पर केंद्रित संघ की तरह प्रतिबद्ध कार्यकर्ताओं का कैडर विकसित करने की भी बात कही।

दक्षिण मुंबई में पार्टी कार्यकर्ताओं के साथ बैठक के दौरान पूर्व केंद्रीय मंत्री ने कहा कि आरएसएस कैडर संगठन की विचारधारा के प्रति कड़ी निष्ठा रखता है। पवार ने कहा, “हमारे पास भी ऐसा कैडर बेस होना चाहिए जो छत्रपति शाहू महाराज, महात्मा फुले, अंबेडकर और यशवंतराव चव्हाण की विचारधारा के लिए प्रतिबद्ध हो।”
पवार ने हाल के महाराष्ट्र विधानसभा चुनावों में पार्टी के खराब प्रदर्शन का जिक्र करते हुए कहा, लोकसभा चुनाव में जीत के बाद पार्टी के भीतर लचीले ढंग से काम किया गया, जबकि सत्तारूढ़ बीजेपी के नेतृत्व वाले महायुति गठबंधन ने अपने नुकसान को दूर करने के लिए सक्रिय रूप से काम किया।
एनसीपी (शरद पवार) ने 10 लोकसभा सीटों पर चुनाव लड़कर 8 पर जीत हासिल की, लेकिन विधानसभा चुनाव में लगभग 90 सीटों पर लड़कर केवल दस सीटें हासिल की। शरद पवार ने माना कि उनकी पार्टी अपने प्रमुख मतदाता आधार को जोड़ने में विफल रही, जो हार की मुख्य वजह है। उन्होंने पार्टी को मजबूत करने के लिए पार्टी संगठन के पुनर्गठन का भी संकेत दिया।

विचारधारा सबसे अहम- आव्हाड

एनसीपी (एसपी) विधायक जितेंद्र आव्हाड ने पार्टी की स्थिति स्पष्ट की है। उन्होंने कहा पार्टी प्रमुख शरद पवार ने बैठक में संघ की कार्यप्रणाली की प्रशंसा की, लेकिन उनकी विचारधारा अपनाने से इनकार किया है। उन्होंने विरोधियों की अच्छी बातें अपनाने पर जोर दिया। इसमें कुछ गलत नहीं है। राजनीति में सिर्फ हार और जीत सबसे अहम नहीं है, विचारधारा भी जरुरी है…विचारधारा के लिए जान देने के लिए भी तैयार रहना चाहिए।

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