ढाई सौ कलाकार गांव में कर रहे कार्य
बीजापुरी में वर्तमान समय में ढाई सौ कलाकार विभिन्न तरह की कलाकृतियों के निर्माण कार्य में लगे हुए हैं। इसमें काष्ठ कला के साथ ही गोंडी आर्ट, छीद, लोहा तथा गोंद से बनी हुई कलाकृति का निर्माण कार्य ये वर्तमान में कर रहे हैं। सभी ढाई सौ कलाकारों का पंजीयन करते हुए उनके उत्पाद का विक्रय किए जाने के लिए प्रशिक्षण दिया जा रहा है।
लाभ मिला तो स्थानीय स्तर पर करेंगे काम
बीजापुरी में 250 से अधिक कलाकार हैं जो अपनी कलाकृति का निर्माण करने के साथ ही आजीविका चलाने के लिए भोपाल, जबलपुर और बालाघाट जैसे स्थानों में मजदूरी का कार्य करते हैं। वापस आने पर कुछ कलाकृतियों का निर्माण स्थानीय स्तर पर विक्रय के लिए कर लेते हैं। ग्राम पंचायत सरपंच सुभद्रा देवी का कहना है कि यदि ऑनलाइन शॉपिंग से स्थानीय स्तर पर उत्पाद का विक्रय हुआ तो इसका लाभ कलाकारों को मिलेगा और उन्हें बाहर मजदूरी करने के लिए नहीं जाना पड़ेगा। काष्ठ कलाकृति का निर्माण करने वाले कलाकार ढोकल सिंह और पंचम सिंह परस्ते ने बताया कि घर बैठे ही अगर उनकी कलाकृति का विक्रय करने के लिए बाजार उपलब्ध हो जाए तो उन्हें यहां वहां भटकना नहीं पड़ेगा और मन लगा करके यह कार्य वह कर सकेंगे।
कंपनी बताएगी कैसे करें ब्रांडिंग
पर्यटन विभाग के जिला प्रबंधक अजय अग्रवाल ने बताया कि पर्यटन विभाग ने ऑनलाइन ई-कॉमर्स कंपनी के साथ संयुक्त रूप से इसकी योजना बनाई है। कंपनी कारीगरों को प्रशिक्षण देने के साथ ही उन्हें बताएगी कि कैसे अपने उत्पाद की ब्रांडिंग ऑनलाइन शॉपिंग एप के जरिए करनी है और इसका विक्रय किस तरह से करना है। सभी ऑनलाइन शॉपिंग प्लेटफार्म पर कारीगरों को अपने उत्पाद की फोटो लगाने के साथ ही रेट निर्धारण करना व विक्रय के बारे में बताया जा रहा है।