पूछताछ में सामने आया कि, 12 मार्च को बीकॉम की परीक्षा के दौरान दो छात्रों को अलग कक्ष में बैठाया गया है। जांच के दौरान केंद्राध्यक्ष ने अपना पक्ष भी रखा है। साथ ही मामले की जानकारी विश्वविद्यालय को नहीं दिए जाने के बारे में गलती मानी है। पहले दिन की जांच में विश्वविद्यालयीन अधिकारियों ने कई साक्ष्य जुटाए हैं, जबकि यह जांच अभी जारी रहेगी।
संभवत: सोमवार या मंगलवार तक इस मामले में प्रतिवेदन तैयार किया जा सकता है। इसके अलावा पूछताछ में जितने तथ्य सामने आए हैं, वे सभी बैठक के जरिए कुलपति के समक्ष में रखे जाएंगे। मामले की जांच के लिए निरीक्षण दल शनिवार या सोमवार को एक बार फिर कॉलेज पहुंचेगा।
क्या हो सकती है कार्रवाई
जांच जारी है, इसलिए निरीक्षण दल और विश्वविद्यालयीन अधिकारी अभी इस संबंध में कोई फैसला नहीं ले पाए हैं। जांच प्रतिवेदन के प्रस्तुत होने के बाद इस मामले में कार्रवाई होनी है। आमतौर पर ऐसी घटना होने पर संबधित कॉलेज में विश्वविद्यालय के द्वारा ऑब्जर्वर नियुक्त कर दिया जाता है, जो परीक्षा संपन्न कराता है। जांच के बाद कुछ ऐसी ही कार्रवाई खूबचंद बघेल में भी हो सकती है। हालांकि, यदि ऑब्जर्वर की नियुक्ति होती है तो यह प्रदेश का पहला मामला होगा। जिसमें किसी सरकारी कॉलेज में ऑब्जर्वर नियुक्त किया जाएगा। इसके अलावा दोषियों के खिलाफ शासन स्तर पर कार्रवाई के लिए विश्वविद्यालय लिख सकता है। जिमेदारों की वेतन वृद्धि रोकने के साथ अन्य तरह की कार्रवाई हो सकती है। इसके अलावा केंद्राध्यक्ष को भी हटाया भी जा सकता है।
जानिए…क्या है मामला
हेमचंद विश्वविद्यालय की वार्षिक परीक्षा के दौरान खूबचंद महाविद्यालय में 12 मार्च को सुबह 11 से दोपहर 2 बजे बीकॉम द्वितीय वर्ष छात्रों की परीक्षा हो रही थी। कॉलेज के कक्ष क्रमांक एन-12 में सभी विद्यार्थी परीक्षा दिला रहे थे। तभी पर्यवेक्षक आए और दो परीक्षार्थियों को उनकी जगह से उठाकर बॉटनी प्रयोगशाला में ले गए।
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परीक्षा के एक घंटे बाद दोनों परीक्षार्थियों की जगह अचानक से बदल दी गई। कक्ष में ले जाने के बाद परीक्षार्थियों को नए प्रश्नपत्र और नई उत्तरपुस्तिकाएं दी गई। एक तरफ जहां इस विषय के बाकी परीक्षार्थी अपने रोल नंबर पर बैठकर परीक्षा दिला रहे थे, वहीं इन दोनों परीक्षार्थियों को अलग कमरे में बैठाया गया।
सबसे खास बात यह है कि जब तमाम परीक्षार्थियों की परीक्षा समाप्त हो गई तब भी यह दोनों परीक्षार्थी अन्य कक्ष में बैठकर उत्तरपुस्तिका लिखते रहे। इस मामले की शिकायत लिखित में विश्वविद्यालय से की गई, जिसके बाद शुक्रवार को मामले की जांच के लिए जांच समिति ने निरीक्षण किया।
खूबचंद महाविद्यालय में नकल कराए जाने की शिकायत के बाद निरीक्षण दल द्वारा जांच शुरू हो गई है। इसमें कई पहलूओं को और देखना है। इसके बाद रिपोर्ट सौंपी जाएगी। विश्वविद्यालय उचित कार्रवाई करेगा। – भूपेंद्र कुलदीप, कुलसचिव,हेमचंद विश्वविद्यालय