Territorial Army Salary: क्या होती है टेरिटोरियल आर्मी, आर्मी से है बहुत अलग, इतनी मिलती है सैलरी
Territorial Army Salary: भारत की सुरक्षा के लिए सेना में अलग अलग शाखाएं होती हैं, जो हर वक्त अपनी ड्यूटी के लिए तैयार रहते हैं। इन्ही में से एक है टेरिटोरियल आर्मी। जानिए सैलरी और अन्य डिटेल-
Territorial Army Salary: भारत की सुरक्षा के लिए सेना में अलग अलग शाखाएं होती हैं, जो हर वक्त अपनी ड्यूटी के लिए तैयार रहते हैं। इनमें से दो प्रमुख शाखाएं हैं, इंडियन आर्मी और टेरिटोरियल आर्मी। ये दोनों ही ब्रांच सुरक्षा फोर्सेज में अहम भूमिका निभाती हैं। दोनों ही अपने काम करने के तरीके, अपनी प्रकृति और सेवा शर्तों में अलग अलग हैं। जहां एक तरफ इंडियन आर्मी के बारे में सभी के पास जानकारी है, वहीं दूसरी ओर टेरिटोरियल आर्मी (Territorial Army Kya Hai) के बारे में लोगों को बहुत कम पता होता है। ऐसे में आज जानेंगे क्या टेरिटोरियल आर्मी क्या है, कौन ज्वॉइन कर सकता है और इसमें कितनी सैलरी मिलती है-
क्या है टेरिटोरियल आर्मी (Territorial Army Kya Hai)
टेरिटोरियल आर्मीउन लोगों के लिए है जो अन्य क्षेत्र में पेशेवर हैं और देश के लिए अपनी सेवा देना चाहते हैं। यह अंशकालिक (Part Time) नौकरी है जो भारतीय युवाओं को देशप्रेम दिखाने का अवसर प्रदान करती है। टेरिटोरियल आर्मी के जवानों को साल में कुछ सप्ताह और महीने के लिए ट्रेनिंग दी जाती है। इनकी ट्रेनिंग रेगुलर नहीं होती है न आर्मी ट्रेनिंग जैसी सख्त होती है। टेरिटोरियल आर्मी को केवल विशेष परिस्थितियों में एक्टिव किया जाता है। जैसे कि आंतरिक सुरक्षा (Internal Security), आपदा प्रबंधन और युद्ध जैसी स्थिति में इन जवानों की फोर्स को एक्टिव किया जाता है।
आर्मी की तुलना में टेरिटोरियल आर्मी में करियर ग्रोथ (Career Growth In Territorial Army) कम है। यह प्लेटफॉर्म उन लोगों के लिए हैं जो पहले से किसी नौकरी में हैं और केवल कुछ समय के लिए सुरक्षा कामों में शामिल होना चाहते हैं। उदाहरण के लिए स्पोर्ट्स पर्सनालिटी, एक्टर आदि।
टेरिटोरियल आर्मी में कितने जवान होते हैं
प्रादेशिक सेना देश की सुरक्षा के लिए महत्वपूर्ण मानी जाती है। इसमें 32 पैदल बटालियन हैं, जिनमें से 14 बटालियन (करीब 14,000 सैनिक) दक्षिणी, पूर्वी, पश्चिमी, मध्य, उत्तरी, दक्षिण-पश्चिमी, अंडमान और निकोबार, तथा सेना प्रशिक्षण कमांड में तैनात की जा सकती हैं।
एक्टिव हो सकता है टेरिटोरियल आर्मी (India Pakistan Conflict: Territorial Army Will Be Activate)
ऑपरेशन सिंदूर (Operation Sindoor) के बाद पाकिस्तान के साथ बढ़ते तनाव के बीच केंद्र ने सेना प्रमुख (COAS) को राष्ट्रीय सुरक्षा प्रदान करने के उद्देश्य से प्रादेशिक सेना के प्रत्येक अधिकारी और नामांकित व्यक्ति को बुलाने का अधिकार दिया है। यह अधिकार प्रादेशिक सेना नियम, 1948 के नियम 33 के तहत दिया गया है, जो 10 फरवरी, 2025 से 9 फरवरी, 2028 तक प्रभावी है।
1949 में हुई थी स्थापना
टेरिटोरियल आर्मी एक महत्वपूर्ण सैन्य रिजर्व बल है, जो अंशकालिक स्वयंसेवकों से बना है। इनका काम है भारतीय सेना को समर्थन करना। टेरिटोरियल आर्मी अधिनियम 1948 के तहत 1949 में इस बल की स्थापना की गई थी। यह नियमित सेना के लिए एक पूरक बल के रूप में कार्य करता है। प्राकृतिक आपदाओं और आपात स्थितियों के दौरान यह बल एक्टिव हो जाता है।
कितनी होती है टेरिटोरियल आर्मी की सैलरी? (Territorial Army Salary)
रेगुलर आर्मी की तरह ही टेरिटोरियल आर्मी को भी भुगतान किया जाता है। इन्हें सैलरी के साथ-साथ कई सारे भत्ते और लाभ दिए जाते हैं जैसे कि सीएसडी, चिकित्सा और मुफ्त राशन, आर्मी कैंटीन की सुविधाएं मिलती हैं। सैलरी की बात करें तो ये अलग अलग रैंक के हिसाब से होती है, जो 56,100 रुपये से लेकर 2,25,000 रुपये के बीच होती है।
ये प्रमुख चेहर हैं टीए का हिस्सा
भातीय टीए का हिस्सा न केवल आम नागरिक बन सकता है बल्कि कई प्रमुख हस्ती, राजनेताओं और अभिनेताओं भी इसमें समय समय पर शामिल हुए हैं। केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर, पूर्व उपमुख्यमंत्री सचिन पायलट और अभिनेता नाना पाटेकर जैसे कई नामचीन हस्तियां इस लिस्ट में शामिल हैं।
कुछ प्रमुख हस्तियों के नाम जो टीए का हिस्सा हैं
अनुराग ठाकुर (केंद्रीय मंत्री)
सचिन पायलट (पूर्व उपमुख्यमंत्री)
नाना पाटेकर (अभिनेता)
मोहनलाल (अभिनेता)
अभिनव बिंद्रा (निशानेबाज)
कपिल देव (क्रिकेटर)
सचिन तेंदुलकर (क्रिकेटर)
एम एस धोनी (क्रिकेटर)
राज्यवर्धन सिंह राठौर (ओलंपिक पदक विजेता और पूर्व केंद्रीय मंत्री)