‘दिल्ली से पर्ची नहीं आई’- डोटासरा
सोमवार को बाड़मेर में मीडिया से बातचीत में डोटासरा ने कहा कि मुख्यमंत्री का चयन भी दिल्ली से पर्ची पर हुआ, तो फिर SI भर्ती का निर्णय वे अपने विवेक से कैसे लेंगे? डोटासरा ने आगे कहा कि डेढ़ साल से अभ्यर्थी अनिश्चितता के दौर से गुजर रहे हैं, और उन्हें यह नहीं पता कि उनकी नौकरी बचेगी या नहीं। उन्होंने सरकार पर कोर्ट में गलत तथ्य पेश करने और बहाने बनाने का भी आरोप लगाया। साथ ही, उन्होंने तंज कसते हुए कहा कि मुख्यमंत्री को भ्रमण के अलावा किसी अन्य मुद्दे पर ध्यान नहीं है।
बेनीवाल ने दी आंदोलन की चेतावनी
शहीद स्मारक पर पिछले एक महीने से धरने पर बैठे RLP प्रमुख हनुमान बेनीवाल ने कहा कि अगर सरकार भर्ती रद्द नहीं करती तो वे पूरे प्रदेश में युवा आंदोलन शुरू करेंगे। उन्होंने आरोप लगाया कि राज्य में पेपर माफिया हावी है और RPSC भ्रष्टाचार का अड्डा बन चुका है। उन्होंने कहा कि चुनाव से पहले BJP ने CBI जांच और RPSC के पुनर्गठन का वादा किया था, लेकिन सत्ता में आने के बाद सब भुला दिया गया। बताते चलें कि सासंद हनुमान बेनीवाल भी इस मामले को कई दिनों से आंदोलनरत है। फिलहाल राजधानी जयपुर में सड़कों पर धरना प्रदर्शन के जरिए इस मामले को लेकर सरकार के खिलाफ मोर्चा खोल रखा है। बेनीवाल की मांग है कि इस भर्ती को तत्काल रद् किया जाए। रविवार को हनुमान बेनीवाल ने SI भर्ती रद्द करने एवं राजस्थान लोकसेवा आयोग के पुनर्गठन की मांग को लेकर एक जयपुर के मानसरोवर में बड़ी रैली की थी।
सरकार ने हाईकोर्ट से मांगा समय
सोमवार को हाईकोर्ट में हुई सुनवाई के दौरान राज्य सरकार ने भर्ती पर निर्णय लेने के लिए 1 जुलाई तक का समय मांगा है। सरकार की ओर से अतिरिक्त महाधिवक्ता विज्ञान शाह ने बताया कि नीति आयोग की बैठक और कैबिनेट सब-कमेटी की मीटिंग न हो पाने के कारण निर्णय में देरी हुई है। कोर्ट ने सरकार की मांग पर अगली सुनवाई की तारीख तय कर दी है। गौरतलब है कि SI भर्ती परीक्षा 2021 में चयनित हुए अभ्यर्थियों और तैयारी कर रहे युवाओं के लिए यह मामला असमंजस का कारण बना हुआ है। न तो नियुक्तियां हो रही हैं, न ही नई भर्तियों का रास्ता साफ हो रहा है। अब देखना होगा कि सरकार अगले महीने क्या निर्णय लेती है और कोर्ट की अगली सुनवाई में क्या रुख सामने आता है।