इन विशिष्ट अतिथियों को महाकाल दर्शन कराने की व्यवस्था की जा रही है। इन्हें उज्जैन ले जाकर दर्शन की जिम्मेदारी मध्यप्रदेश पर्यटन को सौंपी है। उज्जैन जाने वालों में कई विदेशी मेहमान भी हैं। 26 फरवरी को महाशिवरात्रि से पहले महाकाल (Mahakal Darshan) में वीआइपी आगमन की विशेष तैयारी की जा रही हैं। बाहरी राज्यों के निवेशक 22 फरवरी की शाम से ही आने लगेंगे। ऐसे कुछ अतिथि पहले भी महाकाल जा सकते हैं।
अदाणी, बिरला और गोदरेज के साथ आइटीसी और पारले के चेयरमैन भी
अदाणी समूह के अध्यक्ष गौतम अदाणी, आदित्य बिरला समूह के अध्यक्ष कुमार मंगलम बिरला, गोदरेज इंडस्ट्रीज के सीएमडी नादिर गोदरेज, आइटीसी के सीएमडी संजीव पुरी, दावत फूड्स के एमडी अश्विनी अरोड़ा, पारले के चेयरमैन प्रकाश चौहान, ट्राइडेंट ग्रुप के राजेन्द्र गुप्ता, राजरतन ग्रुप के सुनील चौरडिय़ा, पंकज त्रिपाठी आयशर मोटर्स के विनोद अग्रवाल ब्रिजस्टोन के एमडी हिरोशी योशीजाने, हिंडाल्को इंडस्ट्रीज के एमडी सतीश पाई, ग्रेसिम इंडस्ट्रीज के एमडी एचके अग्रवाल, अल्ट्राटेक सीमेंट के एमडी कैलाश झावर, जेके सीमेंट के एमडी राघवपत सिंघानिया, सीआइआइ के डीजी चंद्रजीत बनर्जी का आना तय हो गया। इनके कार्यक्रम के अनुसार व्यवस्थाएं की जा रही हैं।
मेहमानों के लिए आईं मर्सडीज, ई-बसें, एसयूवी जैसी महंगी कार
मेहमानों को लाने ले जाने के लिए 12 मर्सडीज, 45 ई-बसें और 1000 एसयूवी जैसी महंगी कार (Expensive Car) भी मंगवाई गई हैं। अलग- अलग राज्यों से 100 गोल्फ कार्ट भी मंगवाईं हैं। इन गोल्फ कार्ट से मानव संग्रहालय के प्रवेश द्वार से कार्यक्रम स्थल तक निवेशकों को ले जाया जाएगा।
इंदौर में भी ठहरेंगे
53 होटल में 1516 कमरे बुक राजधानी के निवेशकों को ठहराने के लिए। 1000 उद्योगपतियों को 23 फरवरी को होटल ताज में प्रीकर्सर डिनर दिया जाएगा। 1000 से ज्यादा निवेशकों को इंदौर में भी ठहराएंगे, यहां से सुबह भोपाल लाएंगे। राजधानी के पास २00 से ज्यादा होम स्टे में रुकेंगे।
सांची अतिथियों की दूसरी पसंद
विशिष्ट अतिथियों में से 20 फीसदी विश्व विरासत स्थल सांची देखना चाहते हैं। दस फीसदी अतिथियों ने ही प्रदेश की अन्य जगह घूमने के इच्छा जताई है। इसमें खजुराहो, भीमबेटका, मांडू, कान्हा टाइगर रिजर्व शामिल हैं। कुछ लोग मंडीदीप, इंदौर और पीथमपुर जाकर औद्योगिक पार्क भी देखेंगे।
महाशिवरात्रि से पहले चुनौती
शिवरात्रि से पहले चुनौती महाशिवरात्रि (Mahashivratri) से पहले मेहमानों को महाकाल दर्शन स्थानीय प्रशासन को चुनौती रहेगी। सरकार चाहती है कि अतिथियों को भस्म आरती का अनूठा अनुभव मिले।
उज्जैन कलेक्टर नीरज सिंह ने बताया, विशेष काउंटर से दर्शन प्रक्रिया सुगम बनाएंगे। हम प्रयास कर रहे हैं कि इस दौरान आम श्रद्धालुओं को किसी प्रकार की बाधा न हो।