scriptFirst time: स्वैप किडनी का सफल ट्रांसप्लांट, दो महिलाओं ने दान कर जान बचाई | Patrika News
रायपुर

First time: स्वैप किडनी का सफल ट्रांसप्लांट, दो महिलाओं ने दान कर जान बचाई

रायपुर स्थित एम्स ( AIIMS Raipur) में पहली बार स्वैप किडनी (kidney) का सफल ट्रांसप्लांट (Successful transplant ) किया गया। दो महिलाओं ने अलग-अलग मरीजों को किडनी दान कर जान बचाई, जबकि दोनों महिलाओं के ब्लड ग्रुप पति से नहीं मिल रहे थे।

रायपुरApr 23, 2025 / 06:31 pm

Rabindra Rai

First time: स्वैप किडनी का सफल ट्रांसप्लांट, दो महिलाओं ने दान कर जान बचाई

First time: स्वैप किडनी का सफल ट्रांसप्लांट, दो महिलाओं ने दान कर जान बचाई

प्रदेश के किसी सरकारी अस्पताल में ऐसा केस पहली बार

एम्स प्रबंधन का दावा है कि प्रदेश के किसी सरकारी अस्पताल में ऐसा केस पहली बार हुआ। ये सही भी है कि सरकारी संस्थानों में केवल एम्स में किडनी ट्रांसप्लांट हो रहा है। डीकेएस अस्पताल में अभी लंबा इंतजार करना पड़ेगा। बिलासपुर के दो किडनी मरीजों का तीन साल से डायलिसिस चल रहा था। इनमें एक की उम्र 41 व दूसरे की 39 वर्ष है।

चुनौती को दूर करने बनाई योजना

जीवन सामान्य बनाने के लिए दोनों को किडनी लगाने की सलाह दी गई। दोनों की पत्नियां इसके लिए सामने आईं। एक महिला का ब्लड ग्रुप ओ पॉजीटिव व दूसरे का बी पॉजीटिव था। इस चुनौती को दूर करने के लिए डॉक्टरों की टीम ने स्वैप ट्रांसप्लांट की योजना बनाई। इसमें प्रत्येक महिला ने दूसरी जोड़ी के पति को किडनी दान दी, जिससे रक्त समूह की संगति सुनिश्चित हो सकी और प्रत्यारोपण सफलतापूर्वक किया गया। मरीज आईसीयू में भर्ती है और खतरे से बाहर है।

एंटीबॉडी असंगति के कारण अस्वीकार कर दिए जाते

नेफ्रोलॉजिस्ट डॉ. विनय राठौर ने बताया कि लगभग 40 से 50 प्रतिशत जीवित किडनी दानदाता रक्त समूह या एचएलए एंटीबॉडी असंगति के कारण अस्वीकार कर दिए जाते हैं। हाल ही में 16 अप्रैल को नोटो ने सभी राज्यों को पत्र लिखकर स्वैप ट्रांसप्लांट को बढ़ावा देने को कहा है, ताकि मरीजों को लाभ मिल सके। यूरोलॉजी के एचओडी डॉ. अमित शर्मा ने बताया कि स्वैप ट्रांसप्लांट एक जटिल प्रक्रिया है। एकल ट्रांसप्लांट करना अपेक्षाकृत सरल होता है। वहीं, स्वैप ट्रांसप्लांट के लिए महीनों की योजना, चार ऑपरेशन थिएटर, चार एनेस्थेटिस्ट और चार ट्रांसप्लांट सर्जनों की एक साथ व्यवस्था करनी होती है।

ट्रांसप्लांट टीम में ये

नेफ्रोलॉजिस्ट डॉ. विनय राठौर, सर्जन: डॉ. अमित आर. शर्मा, डॉ. दीपक बिस्वाल, डॉ. सत्यदेव शर्मा, एनेस्थेटिस्ट डॉ. सुब्रत सिंहा, डॉ. मयंक, डॉ. जितेंद्र, डॉ. सरिता रामचंदानी, कोऑर्डिनेटर विशाल, अम्बे पटेल, विनिता पटेल, रीना, नर्सिंग स्टाफ दिनेश खंडेलवाल, कासैया, रामनिवास, बी. किरण।

Hindi News / Raipur / First time: स्वैप किडनी का सफल ट्रांसप्लांट, दो महिलाओं ने दान कर जान बचाई

ट्रेंडिंग वीडियो