नतीजा उनका आवास बनाने का काम अधर में अटक गया है। वही कुछ को रहने की जगह नहीं होने से उधार ब्याज से पैसे लेकर कार्य पूरा करना पड़ रहा है। जिससे वह कर्जदार भी बन गए हैं।
500 लोगों को आवास की स्वीकृति
जानकारी के अनुसार आष्टा में करीब 500 लोगों को प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत आवास की स्वीकृति हुई थी। नगर पालिका की माने तो 400 के आसपास को प्रथम किस्त की राशि जारी हो गई है। इनमें से कई ने राशि मिलने के बाद भी मकाने बनाने का काम शुरू नहीं किया है। वही कुछ ऐसे भी है जिन्होंने काम चालू किया तो दूसरी, तीसरी किस्त की राशि नहीं मिलने से अधर में लटक गया है। स्थानीय लोग बताते हैं कि कई लोग ऐसे भी हैं जिनको पहली ही किस्त नहीं मिली हैं। पिछले दिनों कलेक्टर बालागुरु के आष्टा भ्रमण पर आए थे उनके सामने भी यह मुद्दा उठा था। लोगों ने किस्त नहीं मिलने से मकान बनाने में आ रही समस्या से अवगत कराया था।
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इधर नगर पालिका का कहना है कि कई लोग पहली किस्त मिलने के बाद भी आवास नहीं बना रहे हैं। इन लोगों को जल्द ही काम चालू करने का नोटिस जारी किया जाएगा। यदि फिर भी किसी ने लापरवाही बरती तो नियम अनुसार कार्रवाई की जाएगी। अफसरों का मानना है कि ऐसा नहीं किया तो आवास का लक्ष्य पिछड़ जाएगा। जो लोग योजना से छूटे हैं उनको भी योजना का लाभ देने प्रक्रिया की जा रही है।