मालूम हुआ कि बच्ची का जन्म दो माह पहले दिल्ली के सफदरगंज अस्पताल में हुआ था और उसके माता-पिता सिक्किम निवासी हैं। पुलिस ने बताया कि पकड़ी महिला के तार दिल्ली, कोलाकाता, मुंबई, सिक्किम व उत्तराखडं के देह व्यापार के गिरोह से जुड़े हैं। पुलिस ने आरोपित महिला के अन्य सदस्यों की भी तलाश में जुटी है।
पुलिस उपाधीक्षक (शहर) मुनेश मीणा ने बताया कि महिला थाना प्रभारी छबि फौजदार को सूचना मिली कि शहर के राव साहब का वाडा गडरपुरा निवासी नीतू छारी 4 फरवरी को दुधमुही बच्ची को लेकर आई है। जिस पर थाना प्रभारी के नेतृत्व में पुलिस ने मकान पर कार्रवाई की। यहां पर नीतू छारी और दुधमुही बच्ची मिली। उसने बच्ची का नाम लाडो (बदला हुआ) बताया।
पुलिस ने बच्ची के जन्म संबंधी दस्तावेज मांगे जो वह नहीं दे पाई। पुलिस को उसने बच्ची का जन्म पीहर चंदेल में होना बताया। पूछताछ में अलग-अलग जवाब देने पर पुलिस को शक हुआ। जिस पर पुलिस ने पूछताछ कि तो उसने बताया कि बच्ची को उसने दिल्ली से 1.50 लाख रुपए में खरीदा है। पूछताछ में महिला के तार मानव तस्करी गिरोह से जुड़े होना मालूम हुआ। जिस पर पुलिस ने मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है।
फर्जी दस्तावेजों से बेचते हैं लड़कियों को
सीओ ने बताया कि पकड़ी महिला के तार मानव तस्करी गिरोह से जुड़े हुए हैं। उन्होंने बताया कि गिरोह के लोग फर्जी दस्तावेज तैयार कर लकड़ियों को मोटी रकम लेकर देह व्यापारी की मंडियों में सप्लाई करता है। पुलिस का कहना है कि आरोपित को रिमाण्ड पर लेकर उसके नेटवर्क का पता लगाया जा रहा है। मामले की जांच एसआई महेश कुमार को सौंपी है।
दो माह के बच्चे को लेकर दिल्ली भेजी टीम
उधर, आरोपित महिला के मोबाइल की जांच की तो उसमें बच्चों की कई फोटो मिली हैं। पुलिस इन फोटो को लेकर भी पूछताछ करने में जुटी है। सीओ मीणा ने बताया कि दो माह के बच्चे को लेकर एक टीम दिल्ली भेजी है जो सफदरगंज अस्पताल से मामले में रेकॉर्ड लेगी। उन्होंने कहा कि गिरोह के दूसरे मानव तस्करी गिरोह से भी तार जुड़े हैं।