बैठक में अधिकारियों को परीक्षा के आयोजन में किसी भी प्रकार की लापरवाही नहीं बरतने की सख्त हिदायत दी गई। बैठक के पश्चात जिला कलक्टर डॉ. जितेन्द्र कुमार सोनी एवं पुलिस आयुक्त बीजू जॉर्ज जोसेफ ने स्ट्रांग रूम का दौरा किया एवं सुरक्षा सहित अन्य व्यवस्थाओं का जायजा लिया। इस दौरान उन्होंने अधिकारियों को किसी भी प्रकार की लापरवाही नहीं बरतने एवं समस्त आवश्यक इंतजाम दुरुस्त रखने के निर्देश दिये।
जिला परीक्षा संचालन समिति के नोडल अधिकारी एवं अतिरिक्त जिला कलक्टर (पूर्व) गोपाल सिंह शेखावत ने जानकारी दी कि परीक्षा के आयोजन के दौरान पेपर लीक एवं नकल सहित अन्य प्रकार की विधि विरुद्ध गतिविधियों में संलिप्त आरोपियों के खिलाफ राजस्थान सार्वजनिक परीक्षा (अनुचित साधनों के उपयोग की रोकथाम) अधिनियम के कड़ी कार्रवाई अमल में लाई जाएगी।
राजस्थान सार्वजनिक परीक्षा (अनुचित साधनों के उपयोग की रोकथाम) अधिनियम के यह हैं प्रावधान… राजस्थान सार्वजनिक परीक्षा (भर्ती में अनुचित साधनों की रोकथाम के अध्युपाय) अधिनियम-2022 (2022 का अधिनियम संख्याक 6) एवं संशोधन अधिनियम 2023 (2023 का अधि. संख्याक-17) की धारा 10 (1) के अन्तर्गत 3 वर्ष का कारावास और एक लाख रुपये का जुर्माना से दंडित किया जाएगा, जुर्माना नहीं होने पर 9 माह के कारावास से दण्डित किया जाएगा। इसी तरह धारा 10 (2) के अन्तर्गत 10 वर्ष का कारावास जो आजीवन कारावास तक का हो सकेगा और जुर्माना 10 लाख रूपये जो 10 करोड़ तक का हो सकेगा से दण्डित किया जाएगा, जुर्माना नहीं देने पर 5 वर्ष का कारावास और हो सकेगा। इस प्रकार के संगीन अपराध करने पर दोषी व्यक्तियों की सम्पत्ति की कुर्की और अधिहरण भी किया जा सकेगा।